EPS 95 Pension – देशभर के सरकारी कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए बड़ी खुशखबरी सामने आई है। सरकार ने महंगाई भत्ता यानी डीए में 4 फीसदी बढ़ोतरी को मंजूरी दे दी है। इस बढ़ोतरी के बाद डीए अब 50 फीसदी तक पहुंच गया है। इसका असर 1 जुलाई 2025 से लागू माना जाएगा और अगस्त से कर्मचारियों को इसका लाभ मिलना शुरू हो जाएगा।
सरकार के इस फैसले से कर्मचारियों की जेब में सीधा फायदा होगा। सैलरी में औसतन 7500 रुपये तक का इजाफा देखा जा सकता है। हालांकि यह रकम हर कर्मचारी के ग्रेड पे और बेसिक पे के हिसाब से अलग-अलग होगी। इस फैसले से न सिर्फ मौजूदा कर्मचारी बल्कि पेंशनर्स भी लाभान्वित होंगे।
EPS 95 पेंशनर्स के लिए उम्मीद की किरण
केंद्र सरकार ने डीए बढ़ोतरी के साथ-साथ EPS 95 पेंशनर्स के लिए भी गंभीर कदम उठाने की तैयारी की है। लंबे समय से पेंशनर्स मांग कर रहे हैं कि न्यूनतम पेंशन राशि को बढ़ाया जाए। अभी तक कई पेंशनर्स को बेहद कम रकम पर गुजारा करना पड़ता है, जो मौजूदा महंगाई के हिसाब से नाकाफी है।
सूत्रों की मानें तो कैबिनेट स्तर पर न्यूनतम EPS पेंशन को 7500 रुपये करने पर विचार चल रहा है। अगर ऐसा होता है तो करीब 65 लाख पेंशनर्स को सीधा फायदा मिलेगा। कई बुजुर्ग पेंशनर्स सालों से इस फैसले का इंतजार कर रहे थे, क्योंकि महंगाई और बढ़ते खर्च ने उनकी जिंदगी मुश्किल बना दी है।
डीए बढ़ने का सीधा असर
महंगाई भत्ते में यह 4 फीसदी की बढ़ोतरी कर्मचारियों की सैलरी में बड़ा अंतर पैदा करेगी। उदाहरण के तौर पर अगर किसी की बेसिक सैलरी 35,000 रुपये है तो अब उसे डीए के रूप में लगभग 17,500 रुपये मिलेंगे, जो पहले से करीब 1400 रुपये ज्यादा है।
बड़े पदों पर बैठे अधिकारियों को इसका और भी अधिक फायदा मिलेगा। वहीं, पेंशनर्स की मासिक पेंशन में भी समायोजन किया जाएगा। इस तरह यह कदम मौजूदा समय में महंगाई की मार झेल रहे परिवारों के लिए राहत लेकर आया है।
50 फीसदी डीए का क्या मतलब है
डीए का 50 फीसदी तक पहुंचना सिर्फ बढ़ोतरी तक सीमित नहीं है, बल्कि इसका बड़ा असर बेसिक सैलरी और भत्तों पर पड़ता है। आम तौर पर जब डीए 50 फीसदी हो जाता है तो सरकार को बेसिक पे स्ट्रक्चर पर दोबारा विचार करना पड़ता है।
इसका मतलब है कि आने वाले समय में भत्तों और वेतन ढांचे में और सुधार देखने को मिल सकते हैं। पीएफ, ग्रेच्युटी और एचआरए जैसी सुविधाओं पर भी इसका सीधा असर पड़ेगा। यही वजह है कि कर्मचारियों को अब 8वें वेतन आयोग की उम्मीद और ज्यादा बढ़ गई है।
EPS पेंशन पर सुप्रीम कोर्ट का रुख
EPS 95 पेंशन योजना को लेकर सुप्रीम कोर्ट में भी कई याचिकाएं विचाराधीन हैं। पिछली सुनवाई में कोर्ट ने केंद्र सरकार और ईपीएफओ को साफ निर्देश दिए थे कि पेंशनर्स की शिकायतों को जल्द सुलझाया जाए। कोर्ट ने यह भी माना कि मौजूदा न्यूनतम पेंशन राशि बढ़ती महंगाई के हिसाब से बहुत कम है।
अगर कोर्ट कोई ठोस फैसला सुनाता है तो EPS पेंशनर्स को सीधा लाभ मिलेगा। ऐसे में सरकार भी कोर्ट के निर्देशों को ध्यान में रखते हुए बड़ा फैसला लेने पर मजबूर हो सकती है।
कर्मचारियों और पेंशनर्स की राय
सरकारी कर्मचारियों और पेंशनर्स ने डीए बढ़ोतरी का स्वागत किया है। उनका कहना है कि यह कदम निश्चित रूप से मददगार साबित होगा, खासकर तब जब रोजमर्रा की जरूरी चीजों के दाम लगातार बढ़ रहे हैं।
रिटायर्ड कर्मचारियों के लिए यह बढ़ोतरी खास मायने रखती है। मेडिकल खर्च, घरेलू जिम्मेदारियां और अन्य जरूरतों के बीच उन्हें हर महीने काफी दबाव झेलना पड़ता है। ऐसे में अतिरिक्त पेंशन और डीए की मदद उन्हें राहत देगी।
हालांकि, कर्मचारी संगठनों का कहना है कि अब सरकार को 8वें वेतन आयोग की भी घोषणा करनी चाहिए। इससे कर्मचारियों को स्थायी राहत मिलेगी और उनका मनोबल भी बढ़ेगा।
भविष्य की उम्मीदें
सरकार लगातार कोशिश कर रही है कि कर्मचारियों और पेंशनर्स की समस्याओं का समाधान किया जाए। EPS 95 पेंशनर्स की न्यूनतम पेंशन बढ़ाने पर चर्चा, डीए में लगातार इजाफा और वेतन संरचना पर विचार यही दिखाता है कि कर्मचारी हित अब प्राथमिकता में हैं।
अगर आने वाले समय में 8वें वेतन आयोग की घोषणा होती है तो इससे न सिर्फ सरकारी कर्मचारियों बल्कि निजी क्षेत्र पर भी असर पड़ सकता है। अभी के लिए इतना तय है कि डीए बढ़ोतरी और पेंशन सुधार कर्मचारियों और पेंशनर्स के लिए किसी जीत से कम नहीं है।
डीए और EPS पेंशन में सुधार से लाखों कर्मचारियों और पेंशनर्स को राहत मिली है। यह कदम साबित करता है कि सरकार महंगाई और खर्च के बोझ को कम करने के लिए ठोस उपाय कर रही है। हालांकि, सभी की निगाहें अब इस बात पर टिकी हैं कि EPS पेंशन कब बढ़ाई जाएगी और 8वें वेतन आयोग का एलान कब होगा।